![दिल, मेरी कायनात अकेली है's image](https://kavishala-ejf3d2fngme3ftfu.z03.azurefd.net/kavishalalabs/sootradhar_post/Shamser-Bahadur-Singh-e1530369430803.jpg)
दिल, मेरी कायनात अकेली है—और मैं !
बस अब ख़ुदा की जात अकेली है, और मैं !
तुम झूठ और सपने का रंगीन फ़र्क थे :
तुम क्या, ये एक बात है, और मैं !
सब पार उतर गए हैं, अकेला किनारा है :
लहरें अकेली रात अकेली है, और मैं !
तुम हो भी, और नहीं भी हो— इतने हसीन हो :
यह कितनी प्यारी रात अकेली है, और मैं !
मेरी तमाम रात का सरमाया एक शमअ
ख़ामोश, बेसबात, अकेली है— और मैं !
'शमशेर' किस को ढूँढ़ रहे हो हयात में
बेजान-सी इयात अकेली है, और मैं !
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