आपत्ति's image

आपत्ति पर खेद हैं?

भूलों मत ये अपना ही स्वदेश हैं,

थोड़ा वाणी को दो विराम,

क्या जानते नहीं कैसे विनम्रता से होते हैं काम!

लोकप्रियता को तरसता नहीं हर नाम,

बहुत बढ़ गया हैं फिर भी अभिमान?

या संभालना चाहते ऐसी कमान,

जो नहीं आपके व्यक्तित्व के समान,

आप जप रहें कौनसी आस्था का नाम,

क्यूं ये बताना ज़रूरी सरेआम?

Read More! Earn More! Learn More!