"मरता ये फिर क्या न करता" - विवेक मिश्र's image
347K

"मरता ये फिर क्या न करता" - विवेक मिश्र

बुद्धत्व की बिसात बिछाकर,युद्धत्व का वो आरम्भ करता,

शुद्धत्व की फरियाद सम्हाले, मरता ये फिर क्या न करता,


वो लेकर बैठे सब अपनी बातें, काली साजिश श्वेत नकाबें,

ये अधूरी सब निज करनी मानें, फल पकने का सब्र धरता,

सिद्धत्व की मन आस पालकर, संत्रत्व सन्यास है रचता,

शुद्धत्व की फरियाद ...................


वो लेकर आते अधिकार के नाते, देखी दुल्हन सजी बारातें,

ये शीश चढ़ा निज मौर्य सम्हाले, पग सबक

Read More! Earn More! Learn More!