कलम से लिखे शब्दों में अगर सच्चाई ना होगी,
तुम्हारी कविता में गहराई ना होगी,
भाव ना होंगे अगर तुम्हारें अपने,
कविता में तुम्हारी परछाई ना होगी,
जरूरी हैं शब्दों का तुमसे ताल्लुक़ात,
भावों को किया हों तुमने आत्मसात,
तुम्हारी कल्पना हों या तुम्हारी जीवनगाथा,
जरूरी हैं शब्दों का जुङा हों तुमसे नाता
तुम्हारी कविता में गहराई ना होगी,
भाव ना होंगे अगर तुम्हारें अपने,
कविता में तुम्हारी परछाई ना होगी,
जरूरी हैं शब्दों का तुमसे ताल्लुक़ात,
भावों को किया हों तुमने आत्मसात,
तुम्हारी कल्पना हों या तुम्हारी जीवनगाथा,
जरूरी हैं शब्दों का जुङा हों तुमसे नाता
Read More! Earn More! Learn More!