शिक्षा और सपने's image
394K

शिक्षा और सपने

क्षिक्षा भी व्यवसाय बन गई है पिछले कुछ सालों में।

डिग्री की है भूख अत्यधिक, इन सब पढ़ने वालों में।।


इंजीनियर, डाक्टर, आई ए एस से कम की सोच नहीं।

चाहे रुचि बिल्कुल ना हो, पर पढ़ने में संकोच नहीं।।


स्वजनों के सपनों की खातिर, क्षमता से ऊपर धाए।

लगे रहे दिन रात, किताबों से ही उबर नहीं पाए।।


रहे लक्ष्य से दूर अगर, तो नित चिन्ता खा जाती है।

मन ढोता अवसाद, हीनता की 'फीलिंग' छा जाती है।।

Read More! Earn More! Learn More!