इस शहर का खूब चर्चा हैं ||
मकान सबका उँचा हैं, पर सस्ता हैं ||
झूठी हैं सबके चेहरे पर रखी हँसी,
अंदर से सबका हाल ख़स्ता है ||
किसी को तो रहने दे आज़ाद ए खुदा,
क्यों तू सबक
Read More! Earn More! Learn More!
इस शहर का खूब चर्चा हैं ||
मकान सबका उँचा हैं, पर सस्ता हैं ||
झूठी हैं सबके चेहरे पर रखी हँसी,
अंदर से सबका हाल ख़स्ता है ||
किसी को तो रहने दे आज़ाद ए खुदा,
क्यों तू सबक