नशा दौलत का हो या दारू का
दोनो बीमार करता है
अपने हवस में डूबे इंसान को
बेलगाम करता है,
दोनों की चाहत में सब भूल जाता है
विवेक बुद्धि भूल मद में चूर
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अपने हवस में डूबे इंसान को
बेलगाम करता है,
दोनों की चाहत में सब भूल जाता है
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