![आख़िर बेटे ही क्यूँ चाहिए ?'s image](/images/post_og.png)
देख कर सड़क पे
बुज़ुर्ग दंपत्ति को
तन्हा बेबस लाचार बेहाल
सोचने लगा मैं
क्यूँ लेते हैं जन्म ?
ऐसे बेशर्म "लाल" !
करते नहीं जो बुढ़ापे में
माँ-बाप की देखभाल
पास उनके चला गया मैं
बह रही थीं बूढ़ी अँखियाँ
मद्धम स्वर में जो बतलाया
सुन कर मेरा दिल भर आया
कहा..बेटों ने बहुत सताया
जिस घर को हमने बनाया
उसमें एक कोना दिखलाया
जिस चौखट को पूजते थे
उस दहलीज़ से दूर भगाया
Read More! Earn More! Learn More!