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नज़दीकियां

नजदीकियाँ इतनी की खलने लगे है

शर्ते मोहब्बत की बदलने लगे है

जो न बदलते हम तो जीते भी कैसे 

चाहत की हद में वो बदलने लगे है


बदलने का चलन कोई नया तो नही

दुनिया अब आदाओं पे मरने लगे है

गुमान है उनको भी हस्ती का अपने

शराफत में वो अब बदलने लगे हैं


बीते दिन झरोखे भी सुने पड़े है 

हुई शाम पर्दो में चलने लगे है 

मिलो जो कभी "रा

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