तू कुजा मन कुजा
मन कुजा तू कुजा
मजाज़ी में, हक़ीक़ी में
फ़र्क क्या है ये बता
मैं शब-ए-फ़िराक़
तू ख़्वाब-ए-विसाल
मेरे स्याह बादबान पे
है तेरा रंग-ए-जमाल
मैं पैरहन-ए-दरवेश
तू ताज-ए-शहंशाह
मैं सजदा-ए-सवाली
तू रहमत-ए-ख़ुदा
मैं सवाल-ओ-ज़वाल
तो तू जवाब-ओ-उरूज़
रहमोकरम तेरा बहता चले
बन दरिया-ए-नूर बदस्तूर
तू कुजा मन कुजा
मन कुजा तू कुजा
अक्स और शख़्स में
फ़र्क क्या है
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