
होड़ मची है, होड़ मची है, होड़ मची है होड़,
दौड़ रे भाई, दौड़ रे बाबू, दौड़ रे बेटा दौड़।
आँख बंद कर, कान बंद कर, छोड़ दे रिश्ते नाते,
जो पीछे रह जाते देख ले, सब के सब पछताते,
जिसकी लाठी भैंस उसी की, जग का यही निचोड़,
दौड़ रे भाई, दौड़ रे बाबू, दौड़ रे बेटा दौड़।
नियम कौन से, नियम कहां के, नियम कोई ना मान,
जो जीता है वही सिकंदर, एक सबक ये जान,
धर्म कर्म बेकार की बातें, इनका पीछा छोड़,
दौड़ रे भाई, दौड़ रे
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