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पद्म भूषण सम्मानित संस्कृत भाषा के विद्वान सत्यव्रत शास्त्री जी को श्रद्धांजलि अर्पण
पद्म भूषण सम्मानित संस्कृत भाषा के विद्वान एवं महत्वपूर्ण मनीषी रचनाकार सत्यव्रत शास्त्री जी का आज 14 नवंबर को ९१ की उम्र में निधन हो गया। छः दशकों से वह संस्कृत की सेवा में निरंतर कार्य कर रहे थे।
संस्कृत भाषा में ज्ञानपीठ पुरूस्कार प्राप्त करने वाले वो एक मात्र कवि थे जिन्हे यह पुरूस्कार २००९ में दिया गया था। इसके अतिरिक्त राष्ट्रीय और अंतराष्ट्रीय स्तर पर भी उन्हें कई उल्लेखनीय सम्मानों से सम्मानित किया जा चूका है।
उन्होंने तीन महाकाव्यों की रचना की हैं जिनमे प्रत्येक में लगभग एक हज़ार श्लोक लिखित हैं। वृहत्तमभारतम ,श्री बोधिसत्वचरितम और वैदिक व्यकरण उनकी मुख्य रचनाएं हैं। संस्कृत भाषा में उन्होंने कई अनुवाद कार्य भी किये हैं जिनमे रॉयल थाई से संस्कृत में किया उनका अनुवाद सबसे महत्वपूर्ण रहीं। शास्त्री जी ने दक्षिण-पूर्वी एशिया में रामकथा विषय पर शोध कार्य किया और राम कथा के विभिन्न प्रचलित रूपों और वहां की लोक संस्कृति में रामायण के मह